पटना/दिल्ली: केंद्रीय मंत्री और लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के प्रमुख ने भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात की। बाद में, उन्होंने पटना के एक निजी अस्पताल में हत्या के अभियुक्त की हत्या के बाद कानून-व्यवस्था की स्थिति को लेकर बिहार सरकार पर फिर निशाना साधा। समझा जा रहा है कि दोनों नेताओं ने बिहार के राजनीतिक हालात पर चर्चा की, लेकिन बैठक के डिटेल पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया। बिहार में कुछ ही महीने बाद विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। मगर, चिराग पासवान ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया कि राज्य में कानून-व्यवस्था की स्थिति ‘गंभीर चिंता’ का विषय बन गई है क्योंकि रोजाना हत्याएं हो रही हैं, अपराधियों का मनोबल ‘आसमान छू रहा है’ और पुलिस और संपूर्ण प्रशासन की कार्यप्रणाली समझ से परे है।
बिहार के लॉ एंड ऑर्डर पर चिराग के सवाल
चिराग पासवान ने सोशल मीडिया एक्स पर लिखा, 'बिहार में कानून व्यवस्था आज एक गंभीर चिंता का विषय बन गई है। प्रतिदिन हत्याएं हो रही है , अपराधियों का मनोबल आसमान पर है। पुलिस-प्रशासन की कार्यशैली समझ से परे है। आज पटना के रिहायशी इलाके में स्थित पारस अस्पताल के अंदर घुसकर अपराधियों द्वारा सरेआम गोलीबारी की घटना इस बात का प्रमाण है कि अपराधी अब कानून और प्रशासन को सीधी चुनौती दे रहे हैं। बिहार विधानसभा चुनाव से ठीक पहले बढ़ते अपराधिक मामले चिंताजनक है। उम्मीद है कि प्रशासन जल्द ही कानून व्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए ठोस और कड़े कदम उठाएगी।' एक दूसरी ट्वीट में चिराग ने कहा, 'बिहार पुलिस के ADG हेडक्वार्टर कुंदन कृष्णन का बयान अत्यंत निंदनीय और दुर्भाग्यपूर्ण है। हमारे अन्नदाता किसानों को अपरोक्ष रूप से हत्यारा बताना न सिर्फ उनके मान-सम्मान का अपमान है बल्कि उनके त्याग और परिश्रम का भी अनादर है। अपराधियों पर शिकंजा कसने के बजाय बिहार पुलिस का ध्यान बेवजह के बयानों पर ज्यादा है, जो बेहद चिंताजनक है। प्रशासन को अपनी प्राथमिकता स्पष्ट करनी चाहिए।'एनडीए के पार्टनर और नीतीश के आलोचक
हाल में, चिराग पासवान बिहार में कानून-व्यवस्था की स्थिति के कटु आलोचक बन गए हैं। बिहार में भाजपा-जदयू गठबंधन सत्तारूढ़ है और चिराग की पार्टी उसका सदस्य है। माना जा रहा है कि युवा नेता चिराग का निशाना पर है, जिनके साथ उनके लंबे समय से असहज संबंध रहे हैं। जद (यू) अध्यक्ष नीतीश कुमार राज्य के मुख्यमंत्री हैं और उनके पास गृह विभाग का भी प्रभार है।चिराग और नीतीश के संबंध एक जैसा नहीं रहे
बिहार के सबसे लंबे समय से मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य के बारे में उठ रहे सवालों के बीच, चिराग पासवान की पार्टी राज्य में अपने नेता के लिए एक बड़ी भूमिका की मांग कर रही है। नीतीश 2005 से सत्ता में हैं। वो बस मई 2014 से फरवरी 2015 के बीच नौ महीने तक सत्ता में नहीं थे। इस दौरान उन्होंने अपने तत्कालीन पार्टी सहयोगी जीतन राम मांझी को अपनी जगह मुख्यमंत्री नियुक्त किया था। बिहार में अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा चुनाव होने हैं।इनपुट- भाषाfrom https://ift.tt/KxNkUgC
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